उत्तर प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव में सपा बसपा और भाजपा के त्रिकोणीय संघर्ष को नाकाम करने के लिए महागठबंधन की नींव रख दी गई है| प्रदेशमें तीन जगहों पर होने वाले उपचुनावों में जनतादल यू ने रालोद के उम्मीदवार का समर्थन करने का फैसला किया हैआगामी विधानसभा चुनावों में इस बात की प्रबल संभावना है कि बिहार में जीत से उत्साहित जनता दल "यूनाइटेड" अजीत सिंह की "राष्ट्रीय लोकदल" और कांग्रेस एक साथ चुनावी रणक्षेत्र में उतरे,पीस पार्टी भी इस गठबंधन का हिस्सा हो सकती है|रविवार को शरद यादव ने यूपी में रालोद के नेताओं केसाथ पार्टी कार्यकर्ताओं की एक बैठक भी की है,जिसमे इस फैसलेपर मोहर भी लगा दी गई है|
सपा और बसपा का गठबंधन से बाहर रहना तय
जनता दल (यू) के प्रदेश अध्यक्ष सुरेश निरंजनभैया ने पत्रिका से हुई एक विशेष बातचीत में कहा कि जल्द ही हम गठबंधन की घोषणा करेंगे ,सुरेश निरंजन भैया जी ने पत्रिका से स्वीकार किया कि संभावित गठबंधनको लेकर राष्ट्रीय लोकदल प्रमुख अजीत सिंहने पिछले सप्ताह जनता दल (यू) महासचिव शरद यादव से मुलाक़ात की थी|इसके अलावा अन्य पार्टी के नेताओं से भी शीर्ष स्तर पर लगातार बातचीत चल रही है|गौरतलब है कि समाजवादी पार्टी और बसपा लगातार किसी भी किस्म के गठबंधन की संभावना से इनकार कर रहे हैं|ऐसे में यह लगभग तय है कि यह दोनों पार्टियाँ गठबंधन का हिस्सा नहीं होंगी|
महागठबंधन की होगी पश्चिमी यूपी में रैली
बिहार चुनाव में जबरदस्त जीत हासिल करने के बादमहागठबंधन उत्तर प्रदेश में ताल ठोंकने को तैयार खड़ा |पिछले माह रालोद अध्यक्ष अजीत सिंह नेनितीश कुमार से जब दिल्ली में मुलाक़ात की थी तभी यूपी चुनावों की रणनीति का खाका खिंच लिया गया था|पीस पार्टी के अयूब अंसारी भी नितीश कुमार औरमहासचिव के सी त्यागी से मिल चुकें हैं| गौरतलब है कि पीस पार्टी का पश्चिमी उत्तर प्रदेश और गोरखपुर में प्रभाव है|पार्टी सूत्रों की माने तो पश्चिमी उत्तर प्रदेश में रालोद और जनता दल (यू ) जल्द ही एक संयुक्त रैली करेंगे| राष्ट्रीय लोकदल के प्रदेश अध्यक्ष मुन्ना सिंह चौहान ने पत्रिका से बातचीत कहा कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कोई भी गठबंधन रालोद के बिना असंभव होगा, हमें उम्मीद हैकि यह गठबंधन जब अंतिम शक्ल लेगा ,उत्तर प्रदेश में हम बिहार जैसी ही जीतदर्ज करेंगे|
लालू करेंगे यूपी में समधी के खिलाफ प्रचार
यूपी में महागठबंधन के निर्माण में सबसे बड़ी अड़चन कांग्रेस के साथ सीटों के बंटवारे से जुडी हुई है|जिले स्तर पर पूरे राज्य में अलग अलगगुटों में बंटी पार्टी एक तरफ अपने सांगठनिक ढाँचे को चुस्त दुरुस्त करने में लगी हुई है वही अपनी खोई हुई साख को पुनः पाने के लिए ज्यादा से ज्यादा सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है|ऐसे में महागठबंधन के लिए यह तय करना मुश्किल होगा कि कांग्रेस को कितनी सीटें दी जाए|महागठबंधन के लिए रहत की खबर यह है किबिहार में उनके प्रमुख घटक राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव उत्तरप्रदेश में अपने समधी मुलायम सिंह यादव के खिलाफ चुनाव प्रचार करने को राजी हो गए हैं|गौरतलब है कि 1991 में यूपी में जनता दल के22 विधायक थे,जब मुलायम सिंह यादव और चंद्रशेखर ने वीपी सिंह से किनारा करके समाजवादी पार्टी का गठन कर लिया था|
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