नई दिल्ली : देश के चार राज्यों असम, केरल, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल तथा केंद्र शासित प्रांत पुड्डुचेरी में विधानसभा चुनावों के लिए चार अप्रैल से 16 मई के बीच 43 दिनों की अवधि में मतदान होगा और मतगणना 19 मई को होगी। इन चुनावों में कांग्रेस और भाजपा दोनों का काफी कुछ दांव पर होगा। केरल, तमिलनाडु और पुड्डुचेरी में एक चरण में 16 मई को मतदान होगा, जबकि पश्चिम बंगाल में छह और असम में दो चरणों में मतदान होगा। मुख्य चुनाव आयुक्त नसीम जैदी ने चुनाव कार्यक्रम की घोषणा करते हुए कहा कि सभी राज्यों में मतगणना 19 मई को होगी।
कांग्रेस असम और केरल में सत्तासीन है तो भाजपा असम गण परिषद (अगप) एवं कुछ छोटे दलों के साथ गठबंधन करके असम में खुद को सत्ता के प्रबल दावेदार के तौर पर पेश कर रही है। भाजपा पश्चिम बंगाल में भी बड़े रूप में उभरने की कोशिश में है, जबकि वहां कांग्रेस और वाम दलों के प्रत्यक्ष अथवा परोक्ष रूप से हाथ मिलाने की संभावना जताई जा रही है। पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस की सरकार है।
साल 2011 की तरह पश्चिम बंगाल में इस बार भी छह चरणों में मतदान होगा। पहले चरण का मतदान दो तिथियों चार और 11 अप्रैल को माओवाद प्रभावित इलाकों में होगा। इसके अलावा राज्य में 17, 21, 25, 30 अप्रैल तथा पांच मई को मतदान होगा। असम में दो चरणों में चार अप्रैल और 11 अप्रैल को मतदान होगा।
जैदी ने कहा कि पश्चिम बंगाल में पहले चरण के तहत दो तिथियों का फैसला इलाके की संवेदनशीलता और सुरक्षाकर्मियों की उपलब्धता को ध्यान में रखकर किया गया है। सुरक्षाकर्मी असम में भी तैनात होंगे जिसे पहले से ही संवेदनशील माना जा रहा है।
उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में कुल मिलाकर छह चरणों में मतदान होगा।
विधानसभा चुनाव के लिए पश्चिम बंगाल में कितने केंद्रीय बलों की तैनाती होगी इस बारे में कुछ भी स्पष्ट करने से इंकार करते हुए जैदी ने कहा कि साल 2011 के चुनाव की तुलना में इस बार संख्या ज्यादा होगी। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल के कूच बिहार जिले में परिसीमन के बाद वे 16,000 लोग मतदान कर सकेंगे जो बांग्लादेश के साथ एनक्लेव के आदान-प्रदान के बाद भारतीय नागरिक बनें।
मुख्य चुनाव आयुक्त ने कहा कि परिसीमन के कारण कूच बिहार को पांच मई को होने वाले आखिरी चरण के मतदान के लिए रखा गया है। केरल में फर्जी मतदाताओं के बारे में पूछे जाने पर जैदी ने कहा कि कई इंट्री को डिलीट करने के लिए आयोग ने अत्याधुनिक साफ्टवेयर का इस्तेमाल किया है।
उन्होंने कहा, ‘हम अब इसकी जांच करेंगे कि यह लापरवाही से हुआ है या फिर शरारत है।’ असम, केरल, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल और पुड्डुचेरी में क्रमश: 126, 140, 294 और 30 विधानसभा सीटो के लिए मतदान होगा। इन विधानसभा चुनावों में पहली बार नोटा (इनमें से कोई नहीं) के लिए चुनाव चिन्ह होगा जिसे नेशनल स्कूल ऑफ डिजाइन ने तैयार किया है।
जैदी ने कहा कि सभी मतदान केंद्रों पर सात बुनियादी सुविधाएं होंगी और पूर्ण रूप से महिला मतदान केंद्र भी होंगे।
मतदान के दौरान मिलने वाली शिकायतों पर तत्काल कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए चलित दस्ते होंगे जिनके पास जीपीस लगे वाहन होंगे तथा साथ में केंद्रीय सुरक्षा बल भी होंगे।
इन चार राज्यों और एक केंद्र शासित प्रांत में 17 करोड़ मतदाता 1.18 लाख से अधिक मतदान केंद्रों पर अपने मताधिकार का उपयोग कर सकेंगे।
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