जिनीवा: भारत के परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह (एनएसजी) का सदस्य बनने के प्रयासों को आज उस वक्त एक ताकत मिली जब स्विट्जरलैंड ने उसकी दावेदारी का समर्थन किया तथा दोनों देशों ने कर चोरी और कालेधन की समस्या का मुकाबला करने में सहयोग को मजबूत बनाने का भी संकल्प किया।
स्विस राष्ट्रपति जोहानन शाइंडर-अम्मान ने यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ समग्र बातचीत करने के बाद 48 सदस्यीय एनएसजी की सदस्यता के दावे को स्विट्जरलैंड के समर्थन का ऐलान किया। स्विस बैंकों में भारतीयों के जमा कालेधन की समस्या से निपटने में सहयोग का विस्तार करने पर सहमति जताना दोनों नेताओं के बीच बातचीत के प्रमुख बिंदुओं में शामिल रहा। इसके अलावा दोनों ने व्यापार, निवेश और व्यावसायिक प्रशिक्षण के क्षेत्रों में संबंधों को मजबूत बनाने पर भी बातचीत की।
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