नयी दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने भारतीय अर्थव्यवस्था की खराब स्थिति को आज रेखांकित किया जबकि पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने कहा कि सरकार जीडीपी आंकड़ों को आकषर्क बताकर उनकी आड़ ले रही है, जबकि इन आंकड़ों को चुनौती दी जा रही है। दोनों ने आर्थिक समीक्षा आने से एक दिन पहले यह बात कही।
राजग सरकार कल संसद में आर्थिक समीक्षा पेश करेगी।यहां पार्टी मुख्यालय में कांग्रेस की शोध इकाई द्वारा तैयार ‘अर्थव्यवस्था की वास्तविक स्थिति 2017’ जारी करते हुए सिंह ने कहा कि यह देश की अर्थव्यवस्था की स्थिति को बताती है, इसके कई मुद्दों के बारे में बताती है और इसमें यह भी जानकारी मिलती है कि अर्थव्यवस्था किस तरफ बढ़ रही है।
उन्होंने कहा, ‘स्पष्ट है कि भारतीय अर्थव्यवस्था अच्छी स्थिति में नहीं है। यहां तक कि अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष ने भी जीडीपी वृद्धि के अनुमान को कम किया है और यह 7.6 प्रतिशत नहीं बल्कि उससे कहीं कम 6.6 प्रतिशत रहेगी।’
चिदंबरम ने कहा कि अर्थव्यवस्था की स्थिति ऐसी नहीं है, जिसको लेकर हम खुश हो सकते हैं। उन्होंने ऋण में कम वृद्धि को लेकर चिंता जतायी और दावा किया कि यह पांच प्रतिशत है जो कई दशकों में सबसे कम है।
उन्होंने कहा, ‘भाजपा जीडीपी आंकड़े की आड़ ले रही है जबकि इन आंकड़ों को चुनौती दी जा रही है। लोग इन आंकड़ों के झांसे में आने वाले नहीं है, वह पूछ रहे हैं कि रोजगार कहां है।’
चिदंबरम ने कहा, ‘राजग सरकार अर्थव्यवस्था को बढ़ा-चढ़ाकर पेश करने में भरोसा रखती है, सरकार कल जो कहेगी उसके मुकाबले यह शोध दस्तावेज सचाई के करीब है।’ चिदंबरम ने कहा कि हर सरकार को आशावादी होना चाहिए लेकिन आशावाद स्थिति के वास्तविक आकलन से जुड़ा होना चाहिए।
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